आज गजल सम्राट जगजीत सिंह की जयंती पर संगीत प्रेमियों को हार्दिक बधाई इस अवसर पर उन्हें श्रृद्धांजलि अर्पित करता हूँ
जगजीत सिंह
जगजीत सिंह महान गायक और गज़लों के सरताज
सधे हुए सुर और मधुर आवाज
अपनी गायकी से किया संगीत प्रेमियों पर राज
संगीत प्रेमियों के दिल मे जिंदा है आज
श्री गंगानगर उनका जन्मस्थान
पिता अमर सिंह धीमान माता अमर कौर की प्रतिभासंपन्न संतान
बचपन से ही था गीत संगीत की और रूझान
इसी क्षेत्र मे बनाई अपनी सशक्त पहचान
श्री गंगानगर से स्कूली शिक्षा पाई
डी ए वी कालेज जालंधर से स्नातक की उपाधि पाई
कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय से परास्नातक इतिहास की उपाधि पाई
तत्कालीन कुलपति सूरज भान से प्रशंसा पाई
संगीतज्ञ छगनलाल शर्मा से पाया प्रारंभिक संगीत ज्ञान
सैनिया घराने के उस्ताद जमील खान से सीखा गज़ल गायकी का ज्ञान
बंगाली गायिका चित्रा दत्ता उनके जीवन मे आई
मिल कर दोनों ने जोड़ी बनाई
उसके साथ शादी रचाई
दोनों ने संगीत जगत मे धूम मचाई
अनफारगेटफुल पहला एलबम आया
प्रशंसकों को एलबम खूब भाया
संगीत की दुनिया मे तहलका मचाया
उनके नाम को शिखर पर पहुंचाया
गज़लों को फिल्मी गानों की तरह गाया
इस कला को लोकप्रिय बनाया
एक ऊंचा स्थान दिलवाया
अपनी गायकी का लोहा मनवाया
फिल्मों में भी गाने गाए
गानों से लोकप्रियता पाए
उनके गाने लोगों ने गुणगुनाए
लोगों के दिलों मे स्थान पाए
हर विधा मे गाना गाया
लोकगीत ,भक्ति संगीत मे गाया
भक्तिमय माहौल बनाया
अपनी आवाज का जादू चलाया
लता जी के साथ सज़दा,जावेद अख्तर के साथ सिलसिला
गुलज़ार के साथ मरासिम कहकशां से प्रसिद्धि पाई
जीवन में जीते अनेकों पुरस्कार
संगीत नाटक अकादमी पुरस्कार, गालिब अकादमी पुरस्कार, ज़ीमा पुरस्कार ,इंडियन टैली पुरस्कार
लता मंगेशकर पुरस्कार पद्म भूषण पुरस्कार
राजस्थान रत्न पुरस्कार
हे गज़लों के शहंशाह तुम्हें प्रणाम
आपकी खूबसूरत गायकी को सलाम
अपनी कला से महकाया संगीत का नाम
संगीत प्रेमियो के हृदय मे सदा अंकित रहेगा आपका नाम
अशोक शर्मा वशिष्ठ
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कविता