स्वर्ण ज्योति जानी-मानी लेखिका हैं, कवियित्री हैं, समीक्षक है, अनुवादिका हैं और भी साहित्य के अन्य क्षेत्रों में आपका वृह्द काम है । मूलतः कन्नड भाषी होते हुए भी आपका हिंदी साहित्य के क्षेत्र में जो काम है वो काबिले तारीफ है। आपका एक नया संग्रह "ये कहानियाँ नहीं है" समदर्शी प्रकाशन से प्रकाशित होकर आया है। इस कहानी संग्रह मे संगृहित कहानियाँ वास्तव में कहानी नहीं है बल्कि हमारे और आपके जीवन का आईना है। घटनायें जीवन की इन कहानियों में सजीव हो उठती हैं । हमारे जीवन की सजीव चित्र हैं ये कहानियाँ यदि मैं ऐसा कहूँ तो ये भी कम होगा। इन्हें कहें कि ये रंगीन चल चित्र हैं जिन्हें कैमरे से नहीं कागज़ कलम और शब्दों के माध्यम से संयोजित किया गया है। हर चित्र कुछ कुछ बोलता है, जो पाठक को सुनाई भी देता है और महसूस भी होता है । हर कहानी कुछ कुछ दिखाती है बताती है समझाती है और धीरे धीरे आप के हृदय में छाप छोडते हुए आपको कुछ सिखा कर चुप हो जाती है। यही इन कहानियों की खूबसूरती है। आप इस किताब को मंगवाकर जरूर पढें । यह किताब अमेजॉन पर उपलब्ध है। लिंक है-
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Ye Kahaniyan Nahi Hai
समदर्शी प्रकाशन
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